ग्रेटर नोएडा (कपिल कुमार)
नोएडा प्राधिकरण आजकल डूब क्षेत्र में बने फार्म हाउसों पर खूब कार्यवाही कर रहा है आए दिन दर्जनों फार्म हाउस तोड़े जा रहे हैं लेकिन ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण को डूब क्षेत्र में बने फार्म हाउस दिखाई नहीं दे रहे हैं हिंडन नदी की धारा तक लोगों ने अवैध निर्माण कर लिया है बड़ी बड़ी कॉलोनिया और आलीशान फार्म हाउस बनाए जा रहे हैं जानकारी के अनुसार डूब क्षेत्र में बने फार्म हाउस ज्यादातर बड़े रसूख वाले अधिकारी, नेता, व्यापारी, भू माफिया आदि लोगों के है।
हजारों की संख्या में बने हैं फार्म हाउस, और दर्जनों कॉलोनी बस चुकी है.
ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के अधिसूचित एरिया के अंतर्गत आने वाले डूब क्षेत्र हजारों की संख्या में आलीशान फार्म हाउस और दर्जनों कॉलोनियां बसाई जा चुकी है यूसुफपुर, बिसरख, अली बरदीपुर, कुलेसरा, गुर्जरपुर में सबसे ज्यादा अवैध निर्माण किया गया है और अवैध निर्माण लगातार आज भी चालू है और बढ़ता ही जा रहा है अभी भी भू माफियाओं को प्रशासन की कार्रवाई का कोई डर नहीं है लगातार अवैध निर्माण चल रहा है।
अवैध निर्माण को बढ़ाने में प्राधिकरण के अधिकारियों की अहम भूमिका
ऐसा नहीं है कि जिन अधिकारियों पर अवैध निर्माण को रोकने की जिम्मेदारी थी उन्हें यह पता नहीं था कि यहां अवैध निर्माण चल रहा है यह फार्म हाउस बनाए जा रहे हैं कालोनिया काटी जा रही है जबकि अवैध निर्माण उन्हीं की देखरेख में हुआ है बिना उनके इशारे के किसी की भी हिम्मत नहीं है कि वह डूब क्षेत्र में अवैध निर्माण कर जाए, अधिकारियों की भूमिका की जांच हो, और जिन अधिकारियों पर अवैध निर्माण को रोकने की जिम्मेदारी थी उन्हें निलंबित किया जाए तभी अवैध निर्माण पर रोक लग सकती है।
डूब क्षेत्र में नहीं हो सकती रजिस्ट्री और जीपीए प्रशासन की रोक
जिला प्रशासन ने डूब क्षेत्र की रजिस्ट्री 2020 में ही रोक दी थी लेकिन रजिस्ट्री पर रोक के बावजूद भी डूब क्षेत्र में खरीद-फरोख्त जीपीए पर हो रही थी लेकिन नोएडा व्यूज की शिकायत के बाद जिला प्रशासन द्वारा जीपीए पर भी रोक लगा दी गई अब उम्मीद करते हैं कि दो क्षेत्र में खरीद-फरोख्त ना के बराबर होगी और अवैध निर्माण पर भी कुछ हद तक रोक लग सकती है।
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